अहमदाबाद। मशहूर टीवी सीरियल तारक मेहता का उल्टा चश्मा के रचियता व जाने माने हास्य लेखक पद्मश्री तारक मेहता आखिरकार अब हमारे बीच नहीं रहे। टीवी शो के जरिए वे करोड़ों दर्शकों के बीच अपनी एक अपनी अमिट छाप छोड़कर इस दुनिया को अलविदा कह गए। तारक मेहता का 87 साल की आयु में अहमदाबाद में निधन हो गया। तारक मेहता की मौत का समाचार जैसे ही समाचार चैनलों के माध्यम से लोगों के बीच पहुंचा तो एक अजीब सा सन्नाटा पसर गया। हर कोई एकाएक यह मान नहीं सका तारक मेहता अब हमारे बीच नहीं रहा। गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रुपानी ने तारक मेहता को श्रद्धांजलि देते हुए ट्वीट कर लिखा, उनके निधन से बहुत दु:ख हुआ। वे हास्य लेखक व बेहतरनी कॉलमनिस्ट थे। उन्होंने 80 से ज्यादा पुस्तकें लिखी। उनके प्रसिद्ध उपन्यास (दुनियाने ऊंधा चश्मा) से प्रेरित होकर ही टीवी सीरियल तारक मेहता का उल्टा चश्मा बना। पिछले 9 सालों से प्रसारित हो रहे इस टीवी सीरियल से करोड़ों दर्शक न केवल देश वरन विदेशों में भी जुड़े हुए हैं। अहमदाबाद में 26 दिसंबर, 1929 को जन्मे तारक मेहता ने मुंबई में गुजराती से स्नातक की डिग्री लेने क बाद स्नातकोत्तर की उपाधि ली। बाद में 1958 में गुजराती नाटक मंडली से जुड़ कार्यकारी मंत्री बने। 1960 से 1986 तक वे भारत सरकार के इन्फार्मेशन-ब्रॉडकॉस्टिंग मंत्रालय के फिल्म डिविजन मुंबई में गजेटेड अफसर रहे। बाद में 26 जनवरी, 2015 को भारत सरकार ने उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया। तारक मेहता के निधन पर दु:ख जताते हुए टीवी सीरियल तारक मेहता का उल्टा चश्मा में जेठालाल की भूमिका निभाने वाले दिलीप जोशी ने कहा कि उनके लिखे कई गुजराती नाटकों में मैंने काम किया। हाल ही उनसे मुलाकात हुई, तो उनकी कमजोर स्वास्थ्य का पता चला। आज सुबह ही शूटिंग के दौरान प्रोड्यूसर असित मोदी ने उनके निधन की बात बताई तो बड़ा आघात लगा। सीरियल में चंपक लाल का किरदार निभाने वाले अमित भट्ट ने बताया कि यकीन करना मुश्किल है कि वे हमारे बीच नहीं हैं। चंपक लाल की भूमिका निभाने से पहले मैंने उनका आशीर्वाद लिया। शुरुआती दौर में नर्वस था तो उन्होंने मेरी हिम्मत बढ़ाई। जब शो के 100 एपिसोड पूरे हुए तो उन्होंने मुझे व्यक्गित तौर पर फोन कर कहा कि तुमने किरदार के साथ पूरा न्याय किया है। दयाबेन उर्फ दया भाभी का किरदार निभाने वाली अदाकारा दिशा वाकाणी ने उनको महान व्यक्ति बताया। कहा कि सेंस ऑफ ह्यूमर जबरदस्त था। बरहाल तारक मेहता का अंतिम संस्कार नहीं किया जाएगा। उनके परिवार के फैसले के अनुसार देह दान के तौर पर उनकी देह मेडीकल स्टूडेंटस को सौंपी जाएगी।

 

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