Rejected bail
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-सात प्रोपर्टी कुर्क मुक्त करने की थी मांग

जयपुर। दुष्कर्म के आरोप लगने के बाद गिरफ्तारी के डर से करीब 4 साल तक फरार रहे रिटायर्ड आईएएस बीबी मोहंती की ओर से जब्त सात प्रोपर्टी कुर्क मुक्त करने के लिए पेश की गई अर्जी को एमएम.3० कोर्ट में जज प्रतीक दाधीच ने खारिज कर दिया है। कोर्ट ने आदेश में कहा कि सीआरसीसी में प्रावधान है कि कुर्क सम्पति तभी मुक्त हो सकती है, जब उक्त अवधि में मुल्जिम फरार नहीें था तथा उद्घोषणा की उसे जानकारी नहीं थी। उपरोक्त प्रकरण में ये तथ्य साबित नहीं है। मुल्जिम 3 वर्ष से अधिक समय तक फरार रहा है।

इससे पूर्व आरोपी विधु भूषण मोहंती के एडवोकेट चन्दूराम यादव ने दलील दी कि अदालत के सम्पत्ति कुर्क करने की कार्यवाही औचित्यपूर्ण हो चुकी है। आरोपी की उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए ही कुर्की की कार्यवाही की जाती है। प्रकरण में 2० नवम्बर, 2०17 को सरेण्डर हो चुका है। पुलिस ने 19 दिसम्बर 2०17 को चालान भी पेश कर चुकी है। 6 मार्च को हाईकोर्ट से जमानत भी मिल चुकी है।

इसलिए सम्पत्ति कुर्क मुक्त किया जाए। गौरतलब है कि 25 जनवरी 2०14 को कोर्ट के आदेश से मोहंती के खिलाफ महेश नगर थाने में दुष्कर्म का मुकदमा दर्ज किया था। फरारी के दौरान 6 सितम्बर 2०14 को कोर्ट ने 7 चल-अचल सम्पत्तियां कुर्क करने के आदेश दिए थे। गुडगांव व खुर्दा.उड़ीसा की प्रोपर्टी की वहां के डिस्ट्रिक मजिस्ट्रेट की ओर से रिपोर्ट नहीं भेजने से कुर्क नहीं हो सकी थीए लेकिन अन्य पांच के कुर्क करने के आदेश दे दिए गए थे।

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