दौसा. दौसा के मेहंदीपुर बालाजी में विप्र महाकुंभ का आयोजन किया गया. विप्र महाकुंभ में राज्यसभा सांसद घनश्याम तिवाड़ी ने कहा कि सरकार ने समाज के सभी वर्गों को आरक्षण दे रखा है। हमारी जमीन चली गई, जजमानी चली गई। मंदिर माफी की हमारी जमीन भी चली गई। इसके बावजूद लोग हम पर आरोप लगाते हैं। लोग वर्ण व्यवस्था की आलोचना करते हैं। मैं उस विवाद में नहीं पड़ना चाहता। उन्होंने कहा कि अभी भी 4 वर्ग बने हुए हैं अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, पिछड़ा वर्ग और हम अगड़े। लेकिन हम आर्थिक रूप से तगड़े नहीं है। इसके लिए आर्थिक आधार पर आरक्षण जरूरी है। इसी मांग के तहत संविधान संशोधन होने के बाद ईडब्ल्यूएस का 10 प्रतिशत आरक्षण मिला है। वह भी हमने अकेले नहीं लिया, उसमें राजपूत, वैश्य, कायस्थ और वंचित मुसलमान भी शामिल है। इस आरक्षण के साथ तो वह सभी सुविधाएं जो अन्य समाजों को सरकार द्वारा दी जाती है, वह सभी सुविधाएं आर्थिक रूप से पिछड़ा वर्ग को भी मिलनी चाहिए। तिवाड़ी ने कहा, मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को धन्यवाद देना चाहता हूं, जिन्होंने संविधान संशोधन करके आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग को आरक्षण दिया है। राज्यसभा सांसद ने कहा ब्राह्मण समाज पर जन्मजात दो जिम्मेदारियां हैं। पहली जिम्मेदारी अपने परिवार और समाज को आगे बढ़ाने की। दूसरी जिम्मेदारी हमारे पूर्वजों की ओर से दी गई विश्व की सबसे सर्वश्रेष्ठ संस्कृति, जो हमने पैदा की है, उसका संरक्षण करना। जलदाय मंत्री महेश जोशी ने कहा, विप्र महाकुंभ में आना मेरी जिम्मेदारी थी। मुझे खुशी है कि मैं इसमें शामिल हुआ और अपनी बात रखी। हमें अधिक ताकत के साथ देश और समाज के प्रति जिम्मेदारी निभानी होगी। ऐसा करके हम समाज का नाम ऊंचा करेंगे। जोशी ने कहा कि आजकल नारे दो वजह से लगाए जाते हैं आक्रोश व्यक्त करने के लिए और सच्चाई दबाने के लिए। अपील है कि नारों पर नियंत्रण रखें। आज मेरी सम्मेलन में आने की स्थिति नहीं थी, लेकिन मैं यहां आया हूं।
– 200 विधानसभा क्षेत्रों में छात्रावास बनवाएं:रघु शर्मा
पूर्व मंत्री और कांग्रेस विधायक रघु शर्मा ने कहा ये सम्मेलन चुनाव के लिए नहीं है। समाज का सदस्य होने के नाते मैं कहना चाहता हूं कि हमारे बच्चों में टैलेंट की कोई कमी नहीं है। उन्हें अवसर मिलने चाहिए। इसके लिए मेरी अपील है कि आप सभी 200 विधानसभा क्षेत्रों में सवर्ण समाज के बच्चों के लिए छात्रावास बनवाएं, शैक्षणिक संस्थाएं बनवाएं। कैबिनेट ने तय किया है कि इसके लिए आपको भी 5 प्रतिशत डीएलसी की दर पर जमीन दी जाएगी। समाज के लिए मैं हमेशा तैयार रहूंगा और मंच पर बैठे सभी नेता भी इस बात से इत्तेफाक नहीं रखते कि वे कौन सी पार्टी से है, समाज के लिए सभी तैयार रहते हैं। उन्होंने कहा कि राजस्थान में एससी, एसटी और ओबीसी के लिए ही आरक्षण था। गरीब सवर्णों के लिए आरक्षण के लिए सीकर से आंदोलन की शुरुआत हुई। इसके बाद बीकानेर, अलवर, दौसा, जयपुर, जोधपुर और कोटा में सम्मेलन हुए। राजनीतिक विचारधारा को एक तरफ रखकर समाज के सभी लोगों ने ईडब्ल्यूएस के लिए माहौल बनाया।
राजस्थान की विधानसभा में इसे पारित किया। पहले यह प्रस्ताव 14 प्रतिशत आरक्षण का था, लेकिन मामला केंद्र में अटका रहा। अब 10 प्रतिशत दिया है। आरक्षण में इतनी बंदिश नहीं होनी चाहिए कि आमजन आसानी से इनका लाभ न ले सके।
विप्र सम्मेलन को लेकर रघु शर्मा ने कहा कि हमने विचार किया कि कैसे समाज एकजुट हो, समाज प्रगति करें। आर्थिक सामाजिक राजनीतिक रूप से हम एकजुट हों। मैं विप्र समाज का सदस्य बनकर आया हूं, स्टेट का एजेंट नहीं। हम कैसे सशक्त हों इस पर विचार किया है। समाज कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष अर्चना शर्मा ने कहा ऐसे आयोजनों में समाज में व्याप्त विसंगतियां, कुरीतियां और बुराइयां दूर करने को लेकर चर्चा होती है। साथ ही विप्र फाउंडेशन द्वारा यह प्रयास किया जाता है कि समाज के युवा और महिलाएं कैसे प्रगति करें और कैसे उनका मार्ग प्रशस्त हो। विप्र महाकुंभ में जलदाय मंत्री महेश जोशी, समाज कल्याण बोर्ड अध्यक्ष अर्चना शर्मा, केकड़ी विधायक रघु शर्मा, विधायक अभिनेष महर्षि, मावली विधायक धर्मनारायण जोशी, कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता गौरव वल्लभ, महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष ममता शर्मा, पूर्व विधायक शंकर शर्मा, सपा के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष पंडित रामकिशन, विप्र फाउंडेशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुशील ओझा समेत कई नेताओं ने संबोधित किया।
– विधानसभा चुनाव से पहले जाति की राजनीति
विधानसभा चुनाव से पहले राजस्थान में समाजों की सियासत तेज हो गई है। पिछले दिनों जयपुर में जाट महाकुंभ हुआ तो रविवार को दौसा जिले के मेहंदीपुर बालाजी में विप्र महाकुंभ का आयोजन किया गया। इसमें कांग्रेस-भाजपा के नेता एक मंच पर आए।

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