नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने कहा कि नोटबंदी को लेकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के दावों की परतें अब खुलती जा रही है। नोटबंदी का निर्णय लेते हुए पीएम ने कहा कि इससे आतंकवाद पर प्रभावी ढंग से लगाम लगेगी। लेकिन क्या ऐसा हुआ? लखनऊ के ठाकुरगंज मुठभेड़ के बाद उन्होंने पीएम मोदी को निशाने पर लेते हुए कहा कि आखिर क्यों आईएस मुस्लिम युवकों को अपनी ओर आकर्षित कर रहा है। इस पर गंभीरता से सोचने की जरुरत है। पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने एनएसए अजीत डोभाल पर भी तंस कसा और कहा कि हमारे पास ऐसे खुफिया अफसर हैं, जिनके बारे में कहा जाता है कि अपना पूरा करियर उन्होंने आतंक से लड़ते हुए बीता दिया आखिर उनका योगदान क्या रहा? दिग्विजय सिंह ने मालेगांव बम विस्फोट के आरोपी कर्नल पुरोहित व आप्टे के माध्यम से कहा कि आरएसएस को आईएसआई से फंडिंग हो रही है। उन्होंने कहा कि देश की सुरक्षा को दांव पर लगाने वाले चाहे हिंदू हो या मुस्लिम उनके खिलाफ ठोस कार्रवाई होनी चाहिए। मेरा डर धार्मिक कट्टरता को लेकर है। देश का विकास करना है तो हमें महात्मा बुद्ध व गांधी के विचारों पर चलना होगा। इसी तरह कांग्रेसी नेता पीसी चाको ने भी एमपी के सीएम शिवराज सिंह और केन्द्रीय मंत्रियों के बयानों पर आपत्ति जताई, जिसमें आतंकियों के संबंध आईएस से बताए थे। यह खुफिया तंत्र के फैल होने का ही परिणाम है कि यूपी चुनाव की पूर्व संध्या पर घटना घटी। यह घटना कहीं भी हो सकती है। इन चीजों पर पीएम और गृहमंत्री का नियंत्रण नहीं रह गया है। स्थिति बदतर होती जा रही है।

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