नई दिल्ली। यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव द्वारा शहीदों को लेकर दिए गए बयान पर देश में तीखी प्रतिक्रिया देखने को मिली। गुजरात के शहीदों के परिवार वालों ने अखिलेश के बयान की कड़ी निंदा की। एक शहीद के पिता ने तो यहां तक कह दिया कि अखिलेश गुजरात के गधों की बात करते हैं, उन्होंने अब यह साबित कर दिया है कि उनके पास गधे जैसा दिमाग भी नहीं है। 1999 में करगिल में शहीद हुए मुकेश राठौड़ की पत्नी राजश्री ने कहा कि शहीद किसी राज्य के नहीं होते वे तो देश के होते हैं, राज्य के लिए शहीद नहीं होते देश के लिए शहीद होते हैं। उन्हे खोना राज्य का नहीं अपितु देश का नुकसान होता है। अखिलेश का बयान दिल को दहलाने वाला है। जब मैं 5 माह की गर्भ से थी तब मुकेश शहीद हुए आज उनका बेटा 17 साल का हो गया। जिसने अपना बेटा, भाई, पति देश के लिए खोया हो वो इस दर्द को समझ सकता है। गुजरात के 13 जवान करगिल में शहीद हुए उनमें मुकेश एक था। इस दु:ख और नुकसान की भावना अखिलेश सरीखे राजनीतिज्ञ पंडित की समझ नहीं आ सकता। 1987 में सियाचिन ग्लेशियर पर पाक जवानों को खदेडऩे में शहीद हुए कैप्टन नीलेश सोनी के भाई जगदीश ने कहा कि बड़ा ही दु:ख होता जब शहीदों को राज्यों के आधार पर अलग किया जा रहा है। अखिलश गुजरात के बारे में कुछ नहीं जानते उन्हें ऐसा तुच्छ बयान नहीं देना चाहिए। कुपवाड़ा में एक सर्च ऑपरेशन के दौरान शहीद हुए मेजर रुशिकेश रमाणी की मां गीता रमाणी ने कहा कि जन्म तो मैंने रुशिकेश को दिया, लेकिन पाला तो भारत मां ने। मां अपने बेटों को जाति धर्म या राज्य के आधार पर अलग नहीं करती हैं। ऐसे 10 नाम अखिलेश को बता सकती हूं, जिन्होंने खुद को देश के लिए अपने प्राणें की बलि दी है। शहीद लांसनायक गोपाल सिंह भदौरिया के पिता मुनीम सिंह ने कहा कि अखिलेश ने लोगों को बांटने का काम किया है, इसलिए वे सत्ता से बाहर हो गए हैं। वे अपना दिमागी संतुलन खो बैठे हैं। उन्होंने बयान देकर साबित कर दिया है कि उनके पास गधे जैसा दिमाग भी नहीं है।

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