पटना। बिहार के समस्तीपुर जिले स्थित रोसड़ा थाना क्षेत्र के सिंहमा गांव में एक बारात के दौरान ऐसा वाकिया घटित हो गया। जिसको सुनकर हर कोई हतप्रभ रह गया। यहां तक की जिसको भी यह बात पता चली तो वह दूल्हे के प्रति सहानुभूति जताते हुए नजर आया। साथ ही वधु पक्ष को कोसता दिखा। दरअसल बखरी प्रखंड के सलौना गांव निवासी इंदर कुमार की शादी समस्तीपुर जिले स्थित रोसड़ा अनुमंडल के सिंहमा गांव निवासी कुमसुम कुमारी से तय हुई। यह विवाह 23 अप्रैल को होना था। शादी की तिथि नजदीक आने के साथ ही दोनों ही परिवार पूरी तरह तैयारियों में जुट गए। वहीं दोनों ही परिवारों में नाच गान के साथ विधि विधान से रस्म अदायगी को पूरी तरह निभाया गया। जब 23 अप्रैल की तारिख नजदीक आई तो बड़े ही धूमधाम से इंदर कुमार की बारात निकली और दुल्हन के दरवाजे तक पहुंंची। जिसका दुल्हन पक्ष की ओर से ग्रामीणों ने जोरदार स्वागत भी किया। जबकि दुल्हन भी दूल्हे के इंतजार में पलक पावणे बिछाए बैठी रही। बारात के नाश्ता करने के बाद दूल्हा दुल्हन ने एक दूसरे को जयमाला भी पहनाई। इसके बाद मंडप का कार्यक्रम होना था। दूल्हा मंडप में पहुंच गया, लेकिन दुल्हन मंडप में नहीं आई और उसने शादी से इंकार कर दिया। यहां तक दुल्हन मंडप छोड़कर चली गई। यह बात जब घर की देहरी से निकलकर धीरे धीरे गांव में फैली तो बबाल मच गया। दूल्हा बने इंदर कुमार मंडप में करीब दो घंटे बैठकर अपनी दुल्हन कुमसुम का इंतजार करता कि वह कब आए और उसका हाथ थामे। लेकिन दुल्हन लौटकर नहीं आई। बात बढ़ी तो आवेश में आए दुल्हन पक्ष के लोगों ने दूल्हे समेत बारातियों के साथ जमकर मारपीट की ओर उसे बंधक बना लिया। तनावपूर्ण माहौल के बीच पंचायत जुटी और पंचायत ने विवाह का खर्च वसूलते हुए दूल्हे पक्ष को रिहा कराया। इधर घटना के बाद यह चर्चा भी रही कि दुल्हन बनी कुमसुम अपने प्रेमी के संग फरार हो गई। यहां तक की समाज के लोगों ने जब दुल्हन को उनके समक्ष उपस्थित होने को कहा तो वह अपने घर से फरार थी। बारात बिना दुल्हन के लौटने और दुल्हे के काला होने की स्थिति में शादी से इंकार की बात पूरे गांव में आग की तरह फैली तो दुल्हे के घर लोगों का मजमा जुटा हर कोई घटना के बारे में पूछताछ करता नजर आया।

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