मंदसौर। मध्यप्रदेश के मंदसौर में किसान आंदोलन के दौरान पुलिस की गोली से मारने गए किसानों के परिजनों से मिलने बुधवार को सीएम शिवराज सिंह चौहान मंदसौर पहुंचे। इस दौरान सीएम शिवराज सिंह पुलिस फायरिंग में मारे गए किसानों के परिवारों से मिले। इस दौरान सीएम शिवराज सिंह को पीडि़त परिवार की नाराजगी झेलनी पड़ी।

एक मृतक के परिजनों से सीएम से साफ शब्दों में कहा कि उन्हें कहा कि सीएम साहब हमें सरकारी नौकरी या सरकारी आर्थिक सहायता नहीं चाहिए, हमें तो इंसाफ चाहिए। घटना में दोषी लोगों पर कार्रवाई होनी चाहिए। हालांकि सीएम ने पीडि़त परिवार को संतोष बंधाते हुए कहा कि इस मामले को वे खुद देख रहे हैं, दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा। बता दें पुलिस लाठीचार्ज के दौरान किसान घनश्याम (32) घायल हो गए था। जहां उपचार के लिए उसे इंदौर ले जाया गया। जहां उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई।

सीएम घनश्याम के पिता दुर्गालाल से मिले। जहां उसने सीएम से नौकरी या पैसा नहीं सिर्फ इंसाफ मिलने की बात कही। वहीं मृतक घनश्याम की पत्नी रेखा तो आक्रोशित हो उठी और बोली-सीएम साहब क्या आप पुलिस को गोली चलाने का आदेश दे सकते हो? रेखा के सवाल पर सीएम शिवराज सिंह चुप्पी ही साध गए। इस दौरान सीएम ने घनश्याम के 4 साल के बेटे रघुनंदन व बेटी वंशिका को गोद में लेकर कहा ये दोनों अब सरकार की जिम्मेदारी है। सरकार उनकी सहायता के लिए हर संभव मदद करेगी। इसके अतिरिक्त सीएम आंदोलन में मारे गए अन्य किसानों के परिवार के पास भी गए और ढांढस बंधाया।

बता दें मध्यप्रदेश में किसान कर्ज माफी, दूध के दाम, जमीन के बदले मिलने वाले मुआवजे व मिनिमम सपोर्ट प्राइस में बढ़ोतरी को लेकर आंदोलनरत है। इसी को लेकर हुए आंदोलन में पुलिस की गोली से 6 किसानों की मौत हो गई थी। जबकि सीएम शिवराज के विपरित कृषि मंत्री गौरीशंकर बिसेन ने कहा कि किसानों को कर्ज माफी देने का तो सवाल ही नहीं उठता, वे इसका समर्थन नहीं करते।

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