जयपुर। सुप्रीम कोर्ट के फैसले को बदलते हुए एससी-एसटी एक्ट में केन्द्र सरकार की ओर से किए गए बदलाव को लेकर दायर याचिका पर केन्द्र सरकार को नोटिस दिया गया है। सुप्रीम कोर्ट ने याचिका पर नोटिस देते हुए केन्द्र सरकार से छह सप्ताह में जवाब मांगा है। कोर्ट ने एससी-एसटी एक्ट में किए गए बदलाव पर रोक लगाने से इनकार कर दिया है। याचिका में कहा है कि केन्द्र सरकार के संशोधित कानून से सभ्य समाज में शोषण का नया हथियार बनेगा। सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस एके सीकरी और जस्टिस अशोक भूषण की बेंच ने केंद्र सरकार से जवाब मांगा है। याचिका में बताया है कि संशोधित बिल में मनमाने प्रावधान किए गए हैं। इससे निर्दोष लोगों को भी बेवजह परेशान होने पड़ेगा। अग्रिम जमानत के प्रावधान पर रोक लगा दी है। संशोधित एक्ट मूल अधिकारों, स्वतंत्रता और जवाबदेही का हनन है। इस एक्ट के दुरुपयोग के कई उदाहरण सामने आ चुके हैं। यह शोषण व अत्याचार का नया हथियार बन गया है। शिकायत की जांच बिना ही किसी की गिरफ्तारी होना मौलिक अधिकारों का हनन है।