jaipur. जयपुर शहर को सुनियोजित, समग्र और सुव्यवस्थित रूप देने के लिये प्रतिबद्ध जयपुर विकास प्राधिकरण ‘जहाँ नगर नियोजन एक परंपरा है’ ध्येय वाक्य को अपना मूल मंत्र मानता है। आधुनिक भारत के सर्वाधिक नियोजित शहरों में से एक शहर है-जयपुर। इसी नियोजित विकास को केन्द्र में रखकर जेडीए ने अपने महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट्स, सामयिक प्लानिंग, भविष्यगत दृष्टि द्वारा जयपुर शहर को विश्वस्तरीय शहर बनाने में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ी है।

जेडीए नागरिकों का जीवन स्तर बढ़ाने, पर्यटकों को आकर्षित करने और अत्याधुनिक शहर के रूप में जयपुर शहर को विकसित करने के लिये फ्लाईओवर व पुलों का निर्माण, आवासीय योजनाओं का बिजली, पानी, रोड आदि सुविधाओं सहित पूर्ण विकास, पूरे शहर मे सामुदायिक केन्द्रों, पार्कों, रिंग रोड एवं अन्य बुनियादी सुविधाओं का विकास, कच्ची बस्तियों का विकास जैस अनेक कार्य कर रहा है।

जयपुर शहर राजकीय राजधानी क्षेत्र होने के साथ-साथ ऎतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व का शहर है। इस शहर की भविष्य की आवश्यकताओं और लोगों की अपेक्षाओं के अनुरूप मास्टर प्लान तैयार करवाना और उसका क्रियान्वयन करना जेडीए का एक बहुत ही महत्वपूर्ण कार्य है। साथ ही शहर के सौंदर्यीकरण व पर्यावरण की सुरक्षा के लिये सड़क के किनारे वृक्षारोपण करना और पर्यावरण अनुकूल योजनाओं का विकास भी जेडीए द्वारा किया जाता है।

कोविड महामारी के दौरान जेडीए का योगदान

कोविड महामारी के दौरान संक्रमितों को चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराने के साथ-साथ क्वारन्टाईन किया जाना जरूरी था। ऎसे में प्रदेश की संवेदनशील सरकार ने राजकीय एवं निजी अस्पतालों में कोविड का इलाज, दवाईयां और अन्य चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध करवाईं। जेडीए ने भी इस दौरान प्रशासन के साथ कंधे से कंधा मिलाते हुए कोविड केयर सेेंटर और क्वारन्टाईन सेंटर शुरू किया।

राजस्थान के सबसे बड़े कोविड केयर सेेंटर का निर्माण- कोविड-19 की दूसरी लहर के दौरान प्रतिदिन बढ़ते केसेज की संख्या से अस्पताल बेड व ऑक्सीजन की कमी से जूझ रहे थे। ऎसे समय में जेडीए ने जयपुर के बीलवा में राधा स्वामी सत्संग भवन में राजस्थान का सबसे बड़ा कोविड केयर सेंटर स्थापित किया। जयपुर शहर से 24 किलोमीटर दूर स्थित इस सेंटर पर 5000 पलंगों की व्यवस्था की गई। 10.12 लाख स्क्वायर फीट एरिया में बनाये गये इस सेंटर पर ओपीडी, हेल्पडेस्क, कंट्रोल रूम परिजनो के रूकने की व्यवस्था, पार्किंग, एम्बुलेंस जैसी सभी सुविधाएं प्रदान की गई। इस सेंटर के प्रबंधन में जेडीए का साथ जयपुर ग्रेटर नगर निगम और पुलिस प्रशासन ने दिया।

बगराना क्वारंटाईन सेंटर- बीते वर्ष लॉकडाउन के दौरान जयपुर विकास प्राधिकरण द्वारा कोरोना महामारी की रोकथाम के लिए बगराना में दो हजार लोगों की क्षमता के क्वारन्टाईन सेंटर की स्थापना की गई थी। क्वारन्टाईन सेंटर पर मेडिकल विभाग द्वारा 24ग्7 चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध करवाई गई थीं। कोविड की दूसरी लहर के दौरान भी इस सेंटर पर संक्रमितों को क्वारन्टाईन किया गया।

जेडीए के महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट्स

यूं तो जेडीए द्वारा जारी प्रोजेक्ट्स व पूर्ण हुए प्रोजेक्ट्स जयपुर शहर वासियों के लिए अत्यंत सुविधाजनक और वरदान साबित हो रहे हैं, लेकिन कुछ पूर्ण हुए महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट्स का उल्लेख यहां आवश्यक है –

धार्मिक स्थलों, आरओबी, एलिवेटेड रोड, पुलों का निर्माण- जेडीए द्वारा जयपुर के सामोद स्थित प्रसिद्ध वीर हनुमान मंदिर में 11.2 हैक्टेयर भूमि पर 1635 करोड़ रुपये की लागत से इकोट्यूरिज्म सेंटर का निर्माण किया गया जिससे यह मंंिदर स्थानीय लोगों के साथ-साथ पर्यटकों के आकर्षण का केन्द्र भी बन गया। इसी प्रकार जयपुर शहर स्थित प्रसिद्ध पुरातन खोले के हनुमान जी मंदिर का पूर्ण विकास दो चरणों में 2699 लाख रुपये की लागत से किया गया। आज यह मंदिर अपने उतम व सुंदर प्रांगण के लिऎ जाना जाता है।

जेडीए द्वारा जयपुर में निर्मित रेलवे ओवर ब्रिज (आरओबी) और अंडरपास ने जहां शहर वासियों के लिये आवागमन सुविधाजनक बनाया दिया वहीं ट्रैफिक की समस्या से निजात दिलाने का उत्तम साधन भी निवासियों को प्रदान किया। जयपुर-सीकर रेलवे आरओबी, दादी का फाटक आरओबी, खिरनी फाटक आरओबी, जाहोता आरओबी, दांतली आरओबी, सीतापुरा आरओबी, दुर्गापुरा और सोडाला एलिवेटेड रोड, अर्जुन नगर व कल्याण नगर अंडरपास जेडीए द्वारा पूर्ण किये गये महत्वपूर्ण प्रोजेक्टस है।

पृथ्वीराज नगर योजना का विकास- पृथ्वीराज नगर क्षेत्र एक ऎसा क्षेत्र था जिसका नियमीकरण, विकास, पट्टा आवंटन, एक वृहत् और दुरूह कार्य था। लेकिन जेडीए के अधिकारियों ने अपनी जीवटता और कठिन मेहनत से इस पूरे क्षेत्र का समय-समय पर कैम्प लगाकर पट्टे आवंटित कर नियमीकरण किया। सड़कें, बिजली, बीसलपुर की पाईप लाईन से पानी जैसी मूलभूत सुविधाओं का विकास किया। आज यह क्षेत्र पूर्ण रूप से विकसित एवं सुव्यवस्थित क्षेत्र है।

जेडीए के आगामी महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट्स

उत्तरी रिंग रोड का निर्माण- जयपुर शहर वासियों के लिए पूर्णतः सुविधाजनक और ट्रैफिक फ्रेेंडली 78 किलोमीटर लम्बे उत्तरी रिंग रोड का निर्माण जेडीए द्वारा किया जाएगा। यह रिंग रोड़ 360 किलोमीटर चौड़ा होगा और आवागमन की सुविधा के लिए जगह-जगह ट्रांसिट दिये जायेगें। रिंग रोड के लिये भूमि अधिग्रहण का कार्य भी जेडीए द्वारा किया जायेगा। हाल ही में उत्तरी रिंग रोड का अलाइनमेंट तय कर दिया गया है।

द्रव्यवती नदी प्रोजेक्ट-नाहरगढ़ की पहाड़ियों से शुरू होने वाली और पूरे जयपुर के अलग-अलग स्थानों से बहने वाली 47.5 किलोमीटर लम्बी द्रव्यवती नदी का असंभव सा प्रतीत होने वाला कायाकल्प का बीड़ा जेडीए ने उठाया। यह नदी पूर्व में एक गंदे पानी को एकत्रित करने वाला नाला बन कर रह गई थी और इसे अमीनाशाह नाला के नाम से जाना जाता था।

द्रव्यवती नदी के कायाकल्प के लिये लगभग 1700 करोड़ की राशि का प्रोजेक्ट पास किया गया और टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड के साथ हुए अनुबंध से इस नदी का पूर्णरूपेण कायाकल्प किया जा रहा है। द्रव्यवती नदी पर 84 चेक डैम, 5 सीवरेज प्लांट और 3 पार्कों का निर्माण किया जाएगा। यह प्रोजेक्ट अपने आप में पूरे देश में किया गया पहला ऎसा प्रोजेक्ट है जिसमेें शहर के बीचों-बीच बहने वाले नाले का रूप परिवर्तन कर द्रव्यवती नदी का रूप दिया गया। नदी के किनारों पर जगह-जगह साईकिल ट्रैक, पौधारोपण, फुटपाथ, बगीचों का निर्माण किया गया।

जेडीए के अन्य महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट्स में रामनिवास बाग पार्किंग का द्वितीय फेज 49 हजार 600 वर्ग मीटर क्षेत्र में 100 करोड़ रुयपे की लागत से बनाया जाएगा। इसके अतिरिक्त झोटवाड़ा ओवर ब्रिज, सिविल लाईन्स रेलवे ओवर ब्रिज, बस्सी आरओबी, हवासड़क एलिवेटेड रोड और अन्य प्रोजेक्टस सम्मिलित हैं।

जयपुर को प्रगति के उच्च स्तर पर ले जाने और विकास की नई परिभाषा गढ़ने को तत्पर जेडीए नियोजित विकास और नागरिकों के उच्च जीवन स्तर जुटाने के लिए सदैव तैयार और प्रतिबद्ध है।
डॉ. (श्रीमती) सपना शाह
सूचना एवं जनसम्पर्क अधिकारी
इलेक्ट्रॉनिक मीडिया,मुख्यालय
जयपुर

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