Rajendra Mirna kidnapping case: Harike Singh gets life imprisonment
जयपुर। कांग्रेस के दिग्गज नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री रामनिवास मिर्धा के बेटे राजेंद्र मिर्धा के अपहरण कांड को अंजाम देने वाले मुख्य साजिशकर्ता आतंकी हरनेक सिंह को कोर्ट ने आज उम्रकैद की सजा सुनाई। अपर जिला व सत्र न्यायालय जयपुर क्रम तीन जयपुर मेट्रो न्यायाधीश प्रमोद कुमार मलिक ने हरनेक सिंह को राजेन्द्र मिर्धा के अपहरण, हथियार रखने और पुलिस के साथ मुठभेड़ के तीनों मामलों में दोषी करार देते हुए यह सजा सुनाई। मामले में एक अन्य आरोपी दया सिंह लाहोरिया को पूर्व में ही आजीवन कारावास की सजा हो चुकी है।
पंजाब जेल में बंद आतंकी संगठन खालिस्तान लिबरेशन फोर्स के मुखिया देवेंद्रपाल सिंह भुल्लर को छुड़ाने के लिए नवनीत सिंह कांदिया, दयासिंह लाहोरिया, हरनेक सिंह ने तत्कालीन केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस नेता रामनिवास मिर्धा के बेटे राजेंद्र मिर्धा के अपहरण की साजिश रची। इसे अंजाम देने के लिए वे मालवीय नगर में एक मकान किराये पर लेकर रैकी करने लगे। इनके पास भारी मात्रा में गोला.बारुदए अत्याधुनिक हथियार और पैसा भी था। आरडीएक्स व अन्य विस्फोटक सामग्री भी इनके पास मिले। हरनेक सिंह ने वैशाली नगर में एक जिम खोलीए ताकि किसी को संदेह नहीं होए फिर 17 फरवरी, 1995 को आजाद मार्ग सी.स्कीम से घर से निकलते ही राजेंद्र मिर्धा का अपहरण कर लिया और उसे मालवीय नगर के मकान में बंधक बनाकर रखने लगे। राजेंद्र मिर्धा को छोड़ने के लिए एवज में जेल में बंद भुल्लर की रिहाई की मांग की। इस पर पुलिस ने सर्च आॅपरेशन चलाकर यह पता लगाया कि वे राजेंद्र मिर्धा को मालवीय नगर के मकान में छिपाकर रखे हुए हैं। पुलिस ने वहां घेराबंदी की तो आतंकियों ने पुलिस फोर्स पर गोलीबारी की। पुलिस ने जवाबी फायरिंग कीए जिसमें मौके पर ही नवनीत सिंह कांदिया मारा गया। आतंकी हरनेक सिंहए दयासिंह लाहोरियाए उसकी पत्नी सुमन सूद व अन्य फरार हो गए। पुलिस ने मकान से राजेंद्र मिर्धा को बचाया। मकान व अन्य स्थानों से भारी हथियार और पैसा भी बरामद हुआ। बाद में दयासिंह लाहोरिया व उसकी पत्नी आतंकी कनाडा चले गए। प्रत्यर्पण संधि के माध्यम से दयासिंह व उसकी पत्नी को भारत लाया गयाए लेकिन हरनेक बाद में पकड़ा गया।

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