वाशिंगटन। बड़ी-बड़ी कंपनियां किस तरह से बिमारियां और मौत का सामान विज्ञापनों के जरिए बेच रही है यह सभी लोग जानते हैं मगर कुछ कंपनियां ऐसी है जिन्हें आम व्यक्ति के स्वास्थ्य से कोई मतलब नहीं उन्हें सिर्फ अपना माल बेचना है और मुनाफा कमाना है जिसके लिए चाहे उन्हें अपने उत्पाद में कितनी भी घटिया क्वालिटी के सामान या कैमिकल मिलाकर बेचना पड़े। ऐसा ही एक मामला सामने आया है जहां फार्मास्युटिकल कंपनी जॉनसन एंड जॉनसन को एक अमेरिकी अदालत ने एक महिला को 417 मिलियन डॉलर (करीब 26.72 अरब रुपये) हजार्ना देने का आदेश दिया है। महिला का कहना है कि कंपनी के टैल्कम पाउडर के इस्तेमाल के बाद उसे गर्भाशय का कैंसर हो गया था। कैलिफोर्निया के न्यायाधीशों का यह फैसला, उन मुकदमों में सबसे बड़ा है, जिनमें ये दावा किया गया है कि कंपनी ने अपने अभ्रक युक्त उत्पादों पर कैंसर के खतरे को लेकर चेतावनी नहीं दी थी।

ऐसे मामले में जुमार्ने का यह फैसला अब तक का सबसे बड़ा फैसला है, जिसमें इतनी बड़ी राशि चुकाने को कहा गया है। कंपनी मामले में अपील करने की योजना बना रही है। जॉनसन एंड जॉनसन की प्रवक्ता कैरोल गुडरिच ने एक बयान में कहा है, हम इस फैसले के खिलाफ अपील दायर करेंगे क्योंकि हम विज्ञान को मानते हैं। उन्होंने कहा कि पाउडर के उपयोग से कैंसर हुआ है, इसके सबूत अपूर्ण हैं। न्यूजर्सी स्थित जॉनसन एंड जॉनसन के मुख्यालय में हजारों महिलाओं ने दावा किया है कि पाउडर लगाने के बाद वे गर्भाशय कैंसर की शिकार हुईं। उनका दावा है कि गुप्तांगों के पसीने को सोखने के लिए वे पाउडर का इस्तेमाल करती थीं। आपको बता दें कि कंपनी पहले भी पांच में से चार केस हार चुकी है, जिसके चलते उस पर 30 करोड़ डॉलर (करीब 20 अरब रुपये) का जुमार्ना लग चुका है।

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