कोलकाता. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को पश्चिम बंगाल की पहली वंदे भारत एक्सप्रेस को हरी झंडी दिखाई। कार्यक्रम हावड़ा स्टेशन पर हो रहा था और प्रधानमंत्री अहमदाबाद से इसमें वर्चुअली जुड़े। बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी भी इसमें शामिल होने पहुंची। ममता के कार्यक्रम में पहुंचते ही हावड़ा स्टेशन पर जबरदस्त ड्रामा हो गया।
दरअसल जब ममता मंच पर जा रही थीं, तब भीड़ से जय श्रीराम के नारे लगने लगे। हंगामे के दौरा ममता के साथ रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव समेत 4 केंद्रीय मंत्री भी इस दौरान मौजूद थे। इस पर ममता भड़क गईं और मंच पर बैठने से इनकार कर दिया। इसके बाद रेल मंत्री और राज्यपाल सी वी आनंद बोस ने ममता को मनाने की कोशिश की, लेकिन वे नहीं मानीं। हालांकि बाद में ममता स्टेज के सामने दर्शक दीर्घा में कुर्सी लगाकर बैठ गईं। बाद में उन्होंने अपना संबोधन भी दिया। मेट्रो रेल की सवारी के बाद रेल मंत्री वैष्णव ने तारातला में मीडिया के सवाल पर कहा कि मुख्यमंत्री को आदर और सम्मान के साथ आमंत्रित किया गया था। ऐसी कोई बात नहीं हुई के नाराज होने की बात हो। कार्यकर्ता तो नारे लगाते ही हैं। कार्यक्रम के दौरान ममता बनर्जी ने कहा कि आज उनके लिए काफी खुशी का दिन है। जब वे रेल मंत्री थीं, तब उन्होंने तारातला जोका मेट्रो स्टेशन का उद्घाटन किया था। उस समय प्रतिभा पाटिल वहां आई थीं। उन्होंने कहा कि उन 5 परियोजनाओं में से 4 उनके रेल मंत्री होने के समय की थीं। उन्होंने पीएम मोदी को धन्यवाद देते हुए कहा कि उन्हें खुशी है कि प्रधानमंत्री ने इसका उद्घाटन किया। उन्होंने आगे कहा कि अब उन्हें बेहाला में उनका ड्रीम प्रोजेक्ट जल्द पूरा होता हुआ नजर आ रहा है। ममता ने कहा कि जब वो रेलमंत्री थीं तो उन्होंने 50 विश्व स्तरीय स्टेशन के लिए एक पत्र प्रस्तुत किया था। इस लिस्ट में जलपाईगुड़ी का नाम भी शामिल था। ममता ने इस बात पर खुशी जताई की अब उनकी इच्छा पूरी हो सकेगी।
-तय कार्यक्रम रद्द नहीं किया
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मां हीराबा का शुक्रवार तड़के 3:30 बजे यूएन मेहता अस्पताल में निधन हुआ। वे 100 साल की थीं। मोदी ने खुद ही निधन की जानकारी ट्वीट के जरिए दी। इसके बाद सुबह 7:45 बजे अहमदाबाद पहुंचे। यहां से वे सीधे गांधीनगर के रायसण गांव में भाई पंकज मोदी के घर गए। पार्थिव देह यहीं रखी गई थी। मोदी के पहुंचते ही अंतिम यात्रा शुरू हुई। मोदी ने अपना कोई तय कार्यक्रम रद्द नहीं किया। वे अंतिम संस्कार के बाद सीधे अहमदाबाद स्थित राजभवन गए। वे यहीं से बंगाल में हो रही राष्ट्रीय गंगा परिषद की बैठक में वर्चुअली जुड़ें। उन्होंने हावड़ा को न्यू जलपाईगुड़ी से जोड़ने वाली वंदे भारत की शुरुआत की।

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